रविवार, अक्तूबर 15, 2023

नागेंद्र पासवान ने बिहार विशिष्ट शिक्षक नियमावली 2023 में सुधार को ले भेजा मेल

श्री नागेंद्र पासवान ने बिहार विशिष्ट शिक्षक नियमावली 2023 में सुधार को ले  निदेशक, माध्यमिक शिक्षा,बिहार को मेल कर सुधार करने की माँग किया है उन्होंने अपने मेल में लिखा है कि
      1. बिहार विशिष्ट शिक्षक नियमावली 2023 के अंतर्गत, पंचायत,नगर,प्रखंड,जिला नियोजन इकाई को समाप्त कर एक नियोजन इकाई किया गया है, तथा सभी नियोजित शिक्षकों को जिला संवर्ग घोषित किया गया है ,सरकार का यह स्वागत योग्य सराहनीय कदम है।
 2. इस नियमावली में पूर्व से कार्यरत जिला संवर्ग के शिक्षको एवं राज्य कर्मियों को देय सारी सुविधाएं विशिष्ट शिक्षक को देय होगा ,यह निर्णय भी स्वागत योग्य है
किंतु,
      1. 17 वर्षो तक लगातार सेवा देने के बाद भी नियोजित शिक्षक को जिला संवर्ग में जाने के लिए विभागीय परीक्षा लेना, इस नियमावली का निगेटिव पक्ष है।
  2. विशिष्ट शिक्षक बनने के लिए विभाग द्वारा आयोजित लगातार तीन परीक्षा में असफल नियोजित शिक्षक की सेवा समाप्त हो जायेगी ।यह कंडिका इस नियमावली की सबसे घातक नकारात्मक पक्ष है।
   3. जबकि सभी नियोजित शिक्षक,प्रशिक्षित एवं दक्षता परीक्षा उत्तीर्ण है,
3.इन नियोजित शिक्षकों ने सैकड़ों परीक्षा आयोजित कर प्रत्येक वर्ष लाखो छात्रों को माध्यमिक,एवं उच्च माध्यमिक परीक्षा पास करवाता है, 
4. इन्ही नियोजित शिक्षक का पढ़ाया लाखो छात्र आज डा. इंजिनियर, बैंकर्स,पधाधिकारी ,कर्मचारी शिक्षक बन राज्य और देश की सेवा कर रहा है।
5. इन नियोजित शिक्षको के वजूद को चैलेंज किया जा रहा है। सरकार ऐसा करके शिक्षको के सम्मान के साथ भद्दा मजाक कर रही है।
6. एक विद्यालय, एक समान कार्य ,एक नियमावली, फिर अलग अलग नाम यह शिक्षको में आपस में एक दूसरे के प्रति नैसर्गिक दूरियां पैदा करती है।
   7. एक राज्य, एक स्थान, एक प्रधान एक संविधान एक कार्य के लिए एक नाम केवल और केवल शिक्षक होना चाहिए, 
   इन शिक्षको के आगे कोई उपसर्ग,या प्रत्यय लगाना सरकार की सोच और नियति पर सवाल पैदा होता है।
सुझाव...
1. .बिना शर्त,इन सभी कार्यरत नियोजित शिक्षको को राज्य कर्मी का दर्जा दिया जाय।
2. विशिष्ट शिक्षक नियमावली के स्थान पर जिला संवर्ग शिक्षक नियमावली 2023 बनाया जाय।